132वें कोटा दशहरा मेले का जय राम -राम की मधुर धुन के साथ हुआ आतिशी समापन
कोटा। आसमान में आतिशी नजारों और जय राम राम की मधुर धुन के साथ शुक्रवार को 132वें राष्ट्रीय दशहरा मेले का समापन हुआ। इस दौरान विजयश्री रंगमंच पर भव्य समारोह आयोजित किया गया। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने मेले के समापन की औपचारिक घोषणा की। साथ ही ध्वजावतरण किया गया।
आखिर में दशहरा मैदान के साथ साथ कोटा का आसमान भी खुशियों के रंग में रंग गया। घंटे भर से भी ज्यादा चली आतिशबाजी से पूरा दशहरा मैदान रंग बिरंगी रोशनी से रोशन हो गया। मेला आयोजन में जुटे अधिकारियों, कर्मचारियों, संवेदकों को पुरस्कृत किया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि मेला केवल उत्सव का स्थान नहीं होते, यहां रोजगार के अवसर मिलते हैं और आत्मनिर्भर भारत की झलक देखने को मिलती है। कोटा का दशहरा मेला आने वाले समय में उत्पादकों के द्वारा बनाए उत्पादकों के प्रदर्शन का स्थल बनेगा। इसके लिए प्रयास किए जाएंगे। मेले में गांव देहात की महिलाओं द्वारा तैयार उत्पाद रखे जा सकेंगे।
आने वाले दिनों में कोटा में डिफेंस मेला आयोजित होगा। जिसमें देश भर की डिफेंस के क्षेत्र में काम करने वाली बड़ी कंपनियां कोटा आएंगी। कोटा को ड्रोन उत्पादन का बड़ा हब बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि हमने पहले भी प्रयास किया था, लेकिन सफल नहीं हो पाए। हमारा पूर्ण विश्वास है कि एक दिन हमारा सपना जरूर पूरा होगा। दो साल में कोटा से हवाई सेवा शुरू होगी तो कोटा रेल, हवाई और रोड कनेक्टिविटी का सबसे बड़ा केंद्र बनेगा। कोटा में विकास के सारे संसाधन उपलब्ध हैं।
कोटा को पर्यटन के क्षेत्र में भी नई ऊंचाइयों पर पहुंचाने का काम करेंगे। आने वाले दिनों में कोटा में पर्यटन मेले भी लगेंगे। इसके साथ ही एग्रीकल्चर मेला लगाकर किसानों की आय को बढ़ाने के लिए काम करेंगे। कोटा और बूंदी के बीच तालेड़ा में इथेनॉल के 8 प्लांट लगने वाले हैं। इसके साथ ही एग्रो बेस्ड इंडस्ट्री का सेंटर भी कोटा को बनाएंगे। उन्होंने कहा कि कोटा स्वच्छ बने, सुंदर बने इसके लिए हमको दृढ़ संकल्प शक्ति के साथ काम करना है। स्वच्छता हमारी आदत में आए। हमारे स्वभाव में आए। स्वचछता हमारी प्राथमिकता में होना चाहिए।
मदन दिलावर ने कहा कि मेले जीवन की नीरसता को समाप्त कर ऊर्जा का संचार करते हैं। हीरालाल नागर ने कहा कि कोटा दशहरा मेला कोटा की पहचान है। हाडोती की मिट्टी की खुशबू इस मेले से आए। इसके लिए सभी जरूरी प्रयास होने चाहिए। संदीप शर्मा ने कहा कि कोटा के दशहरे मेले को देखते हुए बड़े हुए हैं। इसके हर क्षण के सदैव साक्षी रहे हैं।
स्वागत भाषण देते हुए विवेक राजवंशी ने कहा कि 132वें दशहरा मेला सभी के सामूहिक प्रयासों से सफल बन पाया है। नवाचार किए गए। उनमें कुछ में सफल हुए कुछ में असफल हुए। उन्होंने कहा कि कोटा में 233 फीट का रावण का पुतला बनाकर विश्व कीर्तिमान बनाया है। कुछ लोगों को इससे निराशा हुई हो, लेकिन भारत के चंद्रयान की लैंडिंग की असफलता के बाद ही गौरवपूर्ण क्षणों के हम सभी साक्षी बने थे।
भारत का चंद्रयान-दक्षिणी ध्रुव पर सफलतापूर्वक लैंड हुआ था। हम निराश हैं लेकिन हताश नहीं है। उन्होंने कहा कि मेले में वंचित बच्चों को मेला भ्रमण कराया गया। मेले को पुरानी रंगत व रौनक में लाने के प्रयास किए गए हैं। लोक कला को जीवित करने का काम किया गया है। बिना किराया बढ़ाए ही मेले के राजस्व में वृद्धि की गई। महापौर राजीव अग्रवाल भारती ने आभार जताया।
मेले की अवधि दो दिन बढ़ाई
132वें राष्ट्रीय दशहरा मेला में दुकानों के लिए दो दिन का समय बढ़ा दिया गया है। दशहरा मेला एवं अन्य उत्सव आयोजन समिति के अध्यक्ष विवेक राजवंशी ने बताया कि मेले के शुरु होने के बाद तीन दिन तक लगातार वर्षा से व्यापार बाधित होता रहा। ऐसे में, व्यापारियों के द्वारा मेला अवधि बढ़ाने की मांग की जा रही थी। वहीं धनतेरस पर खरीदारी को लेकर जनता की ओर से भी यह राय व्यक्त की जा रही थी। जिसे देखते हुए मेला अवधि 2 दिन के लिए बढ़ा दी गई है। अब व्यापारी धनतेरस के दिन भी खुलकर व्यापार कर पाएंगे। वही लोगों को भी मेले में खरीददारी करने का अवसर मिल सकेगा। मेला अवधि के दौरान दिए गए संसाधनों के साथ ही अतिरिक्त दिन में व्यापार हो सकेगा। इस दौरान सभी सुविधाएं सुचारु रहेंगी।
बाल प्रतिभा कार्यक्रम आज
राष्ट्रीय दशहरा मेला 2025 में 18 अक्टूबर को शाम 7 बजे से विजयश्री रंगमंच पर बाल प्रतिभा कार्यक्रम भी आयोजित किया जाएगा। जिसमें नन्हें मुन्ने बच्चों के द्वारा विभिन्न प्रस्तुतियां दीं जाएंगी। उल्लेखनीय है कि 5 अक्टूबर को बाल प्रतिभा कार्यक्रम आयोजित किया गया था। जिसमें वर्षा आ जाने से व्यवधान के चलते 47 बच्चों की ही प्रस्तुतियां हो सकीं थीं। अब शेष सभी बच्चों की प्रस्तुतियां 18 अक्टूबर को विजयश्री रंगमंच पर होगी। मेला समिति अध्यक्ष विवेक राजवंशी ने बताया कि मेला की अवधि बढ़ाने के निर्णय के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रम कराने का भी निर्णय लिया गया है।

