तनुश्री दत्ता की नाना पाटेकर के खिलाफ याचिका कोर्ट ने की खारिज, जानिए क्यों

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मुंबई। बॉलीवुड एक्ट्रेस तनुश्री दत्ता ने एक्टर नाना पाटेकर पर मीटू मूवमेंट के दौरान यौन उत्पीड़न और फिल्म की शूटिंग के दौरान किए गए बुरे व्यवहार का आरोप लगाया था। एक्ट्रेस ने नाना पाटेकर समेत कुछ लोगों के खिलाफ शिकायत भी दर्ज की थी। अब इस मामले पर कोर्ट ने संज्ञान लेने से मना कर दिया है। कोर्ट ने कहा है कि शिकायत सीमित समय अवधि के बाद दायर की गई थी और इसमें देरी का कोई कारण नहीं बताया गया है।

तनुश्री दत्ता ने अक्टूबर 2018 में नाना पाटेकर और तीन अन्य लोगों पर 2008 में फिल्म ‘हॉर्न ओके प्लीज’ के एक गाने की शूटिंग के दौरान उत्पीड़न और बुरा व्यवहार करने का आरोप लगाया था। इस मामले में 2019 में पुलिस ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि उसने मामले की जांच की, लेकिन आरोपियों के खिलाफ कुछ भी सबूत नहीं मिले हैं।

पुलिस ने इसे ‘बी-समरी’ रिपोर्ट के रूप में कोर्ट में पेश किया। इस रिपोर्ट के मुताबिक, एफआईआर झूठी पाई गई थी। तनुश्री ने इस रिपोर्ट के खिलाफ विरोध याचिका दायर की थी, जिसमें उन्होंने कोर्ट से जांच को आगे बढ़ाने की मांग की थी। न्यायिक मजिस्ट्रेट एन।वी। बंसल ने कहा कि तनुश्री ने 2018 में जो एफआईआर दर्ज कराई थी, वह 2008 में हुई घटना से संबंधित थी। भारतीय दंड संहिता की धारा 354 और 509 के तहत इस तरह के अपराधों की शिकायत की सीमा तीन साल है।

कोर्ट ने कहा कि समय सीमा को पार करने के बावजूद कोई वजह बताई नहीं गई है, इसलिए इस मामले पर संज्ञान नहीं लिया जा सकता। कोर्ट ने यह भी कहा कि अगर इतने बड़े अंतराल के बाद देरी को स्वीकार किया जाता है, तो यह न्याय की सच्चाई और समानता के सिद्धांत के खिलाफ होगा।

बता दें, तनुश्री दत्ता ने साल 2018 में खुलासा किया था कि फिल्म की शूटिंग के दौरान नाना पाटेकर ने उनके साथ बदसलूकी की थी। मीटू मूवमेंट की वाज से मामले ने खूब सुर्खियां बटोरी। कई और एक्ट्रेसेज ने सामने आकर अपने साथ हुए बुरे व्यवहार के बारे में खुलकर बात की थी।