अब बच नहीं सकते हैं जीएसटी डिफॉल्टर

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नई दिल्ली । सरल करार दिया गया जीएसटी नई तकनीक के सहारे स्मार्ट भी बन गया है। इतना स्मार्ट कि कर चोरी करके बचना संभव नहीं होगा। नई तकनीक एनालिटिक्स का इस्तेमाल करने से व्यापारी जीएसटी चुकाने से बच नहीं सकते हैं। इन्फोसिस द्वारा विकसित डाटा एनालिटिक्स का इस्तेमाल कर पकड़े गए टैक्स डिफॉल्टरों पर कार्रवाई हो सकती है।

जीएसटी नेटवर्क के लिए बने मंत्री समूह (जीओएम) के चेयरमैन व बिहार के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहा है कि मंत्री समूह ने राज्य सरकारों से पहचान में आए टैक्स डिफॉल्टरों के खिलाफ कार्रवाई की जाए। इन्फोसिस द्वारा विकसित डाटा एनालिटिक्स के जरिये दाखिल किए गए जीएसटी रिटर्न जीएसटीआर-3बी और जीएसटीआर-1 का विश्लेषण किया और बड़ी संख्या में डिफॉल्टरों की पहचान की गई।

जीएसटीएन के जीओएम की नौवीं बैठक के बाद मोदी ने संवाददाताओं को बताया कि हमने दो रिपोर्ट तैयार की हैं। ये रिपोर्ट राज्य सरकारों को सौंपी गई हैं ताकि वे डिफॉल्टरों के खिलाफ कार्रवाई कर सकें। इस बैठक में इन्फोसिस के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर (सीओओ) प्रवीण राव समेत कंपनी के कई शीर्ष अधिकारियों ने भी हिस्सा लिया। मोदी ने बताया कि कुछ राज्यों ने डिफॉल्टरों के खिलाफ कार्रवाई भी शुरू कर दी है। कम गंभीर मामलों में व्यापारियों को चेतावनी दी गई है कि अगर वे दोबारा दोषी पाए गए तो दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी।

जीओएम इन्फोसिस के प्रदर्शन से संतुष्ट: मोदी ने कहा कि जीओएम इन्फोसिस से पूरी तरह संतुष्ट है। जीएसटी लागू करने में सामने आईं सभी दिक्कतें मिलकर दूर कर ली गई हैं। जीएसटीएन में अभी आ रही दिक्कतें हम मिलकर दूर कर रहे हैं। अभी तक जीएसटीएन पर 12.48 करोड़ रिटर्न दाखिल हुए हैं।