मार्च में म्यूचुअल फंड इन्वेस्टर्स ने निकाले 50 हजार करोड़

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नई दिल्‍ली। निवेशकों ने मार्च 2018 में म्‍युचुअल फंड से 50 हजार करोड़ रुपए से ज्‍यादा पैसा निकाल लिया है। सबसे ज्‍यादा पैसा लिक्विड और डेट फंड से निकाला गया है। यह जानकारी एम्‍फी की तरफ से जारी आंकड़ों में सामने आई है। इसके अनुसार इक्विटी फंड में 20 महीने में सबसे कम निवेश इस बार मार्च में आया है। यह निवेश 2954 करोड़ रुपए रहा है। जानकार इसे मोदी सरकार की तरफ से बजट में लाए गए 10 फीसदी लॉन्‍ग टर्म कैपिटल गैन टैक्‍स (LTCG) का असर भी बता रहे हैं।

इक्विटी फंड का बुरा रहा हाल
मार्च 18 में इक्विटी फंड में 2,954 करोड़ रुपए का ही निवेश आया है। यह निवेश पिछले 20 माह में किसी महीने आए निवेश में सबसे कम है। इससे पहले जुलाई 2016 में 2221 करोड़ रुपए का निवेश आया था। जानकारों की राय है कि इक्विटी फंड में निवेश में यह कमी बजट में लागू किए गए टैक्‍स के नए नियम हैं।

इनके तहत 10 फीसदी लॉन्‍ग टर्म कैपिटल गैन टैक्‍स (LTCG) लगाया गया है। किसी भी निवेशक को अगर अब 1 लाख रुपए से ज्‍यादा का LTCG का फायदा होता है, तो उसे यह टैक्‍स देना होगा। शेयरखान के निदेशक इन्‍वेस्‍टमेंट सॉल्‍यूशन स्‍टीफन के अनुसार नए टैक्‍स नियमों के अलावा स्‍टॉक मार्केट की खराब प्रदर्शन भी एक कारण है।

हर साल मार्च में होता है ऐसा
बजाज कैपिटल के सीनियर वाइस प्रेसीडेंट और म्‍युचुअल फंड प्रमुख अंजानिया गौतम के अनुसार यह हर साल मार्च में होता है। उनके अनुसार डेट में ज्‍यादातर कार्पोरेट का निवेश होता है जो मार्च में पैसा निकालते हैं। ऐसा यह कार्पोरेट फाइनेंशियल क्‍लोजिंग के चलते करते हैं। यह ट्रेंड हर साल मार्च में नजर आता है। उनके अनुसार हालांकि यह निवेश बाद के महीनों में वापस आ जाता है।

आंकड़ों पर नजर
एसोसिएशन ऑफ म्‍युचुअल फंड इन इंडिया (एम्‍फी) के अनुसार मार्च 2018 में म्‍युचुअल फंड से 50,752 करोड़ रुपए निकाला गया है। आंकड़ों के अनुसार मार्च 17 में यह निकासी 54,883 करोड़ रुपए थी, जबकि मार्च 16 में यह निकासी इससे भी ज्‍यादा 73,000 करोड़ रुपए रही थी। मार्च 18 में जो पैसा निकाला गया है उसमें से 54,979 करोड़ रुपए लिक्विड कैटेगरी और 13,719 करोड़ रुपए इनकम कैटेगरी से निकाला गया है।