वित्त मंत्री जेटली के फैसले से बिटक्वाइन धड़ाम

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नई दिल्ली। कीमतों में तेजी को लेकर चर्चा में रहने वाली आभासी मुद्रा (क्रिप्टो करेंसी) बिटक्वाइन के दाम में गिरावट थमती नजर नहीं आ रही है। गुरुवार को भारत के वित्त मंत्री अरुण जेटली की ओर से आभाषी मुद्रा पर सख्ती के फैसले से इसके दाम 10 हजार डॉलर से नीचे आ गए।

देश में क्रिप्टोकरेंसी की मान्यता को लेकर सरकार ने अपना रुख स्पष्ट कर दिया है। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने गुरुवार को संसद में पेश बजट में दो टूक कहा कि बिटक्वाइन जैसी आभासी मुद्रा को सरकार मान्यता नहीं देगी। इस पर नकेल कसने के लिए जल्द कदम उठाए जाएंगे। इस फैसले के बाद बिटक्वाइन की कीमत सात फीसदी से भी अधिक घटकर 9,500 डॉलर के करीब रह गई है। दिसंबर में इसकी कीमत 20 हजार डॉलर के करीब पहुंच गई थी।

इस्तेमाल पर रोक जल्द
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा है कि आभासी मुद्रा के प्रयोग को समाप्त करने और इसे चलन से बाहर करने के लिए सभी प्रकार के कदम उठाए जाएंगे। सरकार आभासी मुद्रा को वैध मुद्रा के रूप में कभी स्वीकार नहीं करेगी।

इस तरह की सभी मुद्रा देश में गैरकानूनी है, इस पर रोक लगेगी। वित्त मंत्री के इस फैसले का असर बिटक्वाइन के साथ रिपल और अन्य आभाषी मुद्राओं पर भी हुआ है। रिपल का दाम गुरुवार को एक डॉलर से नीचे चला गया। यह दूसरा मौका है जब रिपल का दाम एक डॉलर से नीचे गया है।