आधार के जरिए खोजे गए 500 लापता बच्चे

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नई दिल्ली। बीते कुछ महीनों के दौरान 500 से अधिक लापता बच्चों का पता लगाया गया है। यह जानकारी खुद भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) के सीईओ अजय भूषण पांडेय ने दी है।

साइबरस्पेस (जीसीसीएस) 2017 पर वैश्विक सम्मेलन में एक सत्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, “पिछले कुछ महीनों में, आधार के माध्यम से 500 से अधिक लापता बच्चों की पहचान की गई है।”

इसको समझाते हुए उन्होंने कहा कि यह ऐसी घटनाओं हुआ है जहां अनाथालय में मौजूद ऐसे बच्चों का आधार में नामांकन कराने की कोशिश की गई जिनका पहले ही आधार कार्ड बनवाया जा चुका है। उन्होंने कहा कि इसी वजह से हम इनका पता लगाने में सफल रहे हैं।

हल्के-फुल्के अंदाज में उन्होंने कहा कि यह एक बॉलीवुड फिल्म की कहानी की तरह है जिसमें भाई-बहन पहले बिछड़ जाते हैं लेकिन दशकों बाद एक दूसरे से मिलते हैं। अब हमें आधार की तस्वीर पर काम करना होगा।

साल 2011 की जनगणना के मुताबिक भारत उन देशों में शामिल है, जहां बच्चों की संख्या काफी ज्यादा है और 1.2 बिलियन की आबादी वाले देश में 40 फीसद आबादी 40 से कम उम्र की है।

चाइल्ड राइट एंड यू एनजीओ (सीआरवाई) के मुताबिक, जो कि बाल अधिकारों के लिए काम करता है। साल 2013 से 2015 के बीच देश भर में लापता होने वाले बच्चों की संख्या में लगभग 84 फीसद की वृद्धि हुई है। इसने सरकारी डेटा का हवाला देते हुए कहा कि यहां लगभग हर दिन 180 बच्चे गायब हो जाते हैं।